गलतफहमियां - 1 Rajesh Kumar द्वारा प्रेम कथाएँ में हिंदी पीडीएफ

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गलतफहमियां - 1

यह कहानी है लड़का लड़की के बीच गलतफहमी को लेकर जिसमें लड़का सामान्य वार्तालाप और लगाव को महोब्बत समझ लेता है। अक्सर आजकल बहुत से लोगों के साथ यही गलतफहमी हो जाती है और फिर एकदूसरे को धोखेबाज़ ठहरा दिया जाता है। आशा करते हैं ये कहानी आपको पसंद आएगी।


राज ने कम्प्यूटर कोर्स करने के लिए आवेदन किया।उसके लिए वो अपने परिचित व्यक्ति द्वारा संचालित कम्प्यूटर सेंटर पर कंप्यूटर सीखने के लिए आज उसका पहला दिन था। उसे बहुत अच्छा लग रहा था। राज नियमित सेंटर जाने लगा। एक दिन टाइपिंग सीखते वक्त उसने हिंदी टाइपिंग के बारे में पूंछा लेकिन वहां संचालक के अलावा कोई नही जानता था। बगल में बैठी एक लड़की ने मुस्कुराते हुए कहा "आजकल तो सब अंग्रेजी में ही जानते है,वैसे हिंदी में भी सीखना चाहिए,मैं बहुत दिनों से सीख रही हूँ लेकिन मुझे भी हिंदी टाइपिंग नही आती।" राज जो आज तक किसी लड़की सेे बात तक नही करता था कोई लड़की उसकी मित्र भी नही थी। राज ने उस लड़की की सादगी भरी मुस्कुराहट को तिरछी नजर से देखा और उसने उससे कहा वह हिंदी टाइपिंग सीखना चाहता है। लेकिन यहां कौन सिखाएगा। राज और उस लड़की में कभी कभार मुस्कुराहटों के साथ हल्की फुल्की बात हो जाया करती थी। आज तक राज को किसी लड़की ने इस प्रकार से मुस्कुराते हुए कभी बातें नही की। उधर राज को लगा कि शायद ये लगाव उसके दिल में इश्क का जगा सकता है।
राज ने अपने एक मित्र से ये बातें अनजाने में साझा कर ली। लेकिन उसके मित्र ने उसे बोला लड़की ठीक है तुम उससे प्रेम का प्रस्ताव रख सकते हो। लेकिन राज इन चीजों से बहुत दूर था, पर उसके दिल में उसके लिए अहसास जागने लगे। राज को उस लड़की की ओर एक अजीब सा खिंचाव महसूस हो रहा था। उसी बीच कंप्यूटर कोर्स की परीक्षा आ गयी थी जिसकी तैयाई वो पिछले महीने से कर रहा था। एग्जाम के बाद राज ने उस लड़की को वो बुक दी जिससे उसने तैयारी की थी वो चाहता था कि वह लड़की भी एग्जाम पास कर ले। लेकिन उसने राज की बुक लेने से मना कर दिया। उसे बहुत बुरा लगा। दो दिन बाद सेंटर पर ही उस लड़की ने राज से बुक देने को कहा, राज ने अगले दिन बुक देने से पहले बुक पर अपना मोबाईल नंबर लिख दिया इस तरह राज उसे अपना नंबर देना चाहता था। लड़की उसकी बुक ले जाती है। अब राज को लगने लगा कि शायद वो भी उसकी तरफ आकर्षित हो रही है। शायद अब राज भी अपने दिल की बात किसी के साथ साझा किया करेगा। वो बहुत उत्साहित था। अब उसे इंतज़ार था कि वह लड़की उसे फोन करे।
अगर उसने फोन किया तो समझो वो भी उससे प्यार करने लगी है। तीसरे दिन हैल्लो-"आप राज बोल रहे हो न" हाँ, राज को समझते देर न हुई वो बहुत ही खुश हुआ, वो अपनी प्रसन्नता को रोक नही पा रहा था। ये बात राज ने अपने दोस्त से साझा की उसके दोस्त ने मुस्कुराते हुए बधाई दी ।यानी राज को भी कोई महोब्बत करने वाली मिल गयी। लेकिन राज अभी स्प्ष्ट रूप से पूछ नही पा रहा था। अब रोजाना उस लड़की और राज में चैट हुआ करती कभी कभार फोन कॉल पर बात भी। एक दिन अचानक उस लड़की ने राज से बात न करने के लिए बहाना बनाया। राज को बुरा लगा।
शेष अगले भाग में